प्यार के बाज़ार
प्यार के बाज़ार में अपनापन ढूॅंढने निकले थे
सबकी कीमत थी वहाॅं, मॅंहगे-मॅंहगे बिकते थे
चेहरों पर कृत्रिम मुस्कान लिए सब बैठे थे
जाकर देखा तो प्यार के झूठे वादे पलते थे
प्यार के बाज़ार में अपनापन ढूॅंढने निकले थे
सबकी कीमत थी वहाॅं, मॅंहगे-मॅंहगे बिकते थे
चेहरों पर कृत्रिम मुस्कान लिए सब बैठे थे
जाकर देखा तो प्यार के झूठे वादे पलते थे