जब आग लगती है
किसी आग में घर उजड़ते हैं ।
कहीं किसी के भाव जलते हैं ।
जब आग लगती है किसी वन में
मन के संताप उजड़ते हैं ।
शेर-चीतों को ले आये हम
अभयारण्य में ।
कोई बताये मुझे
क्या कहूं उस चिडि़या से,
किसी वृक्ष की शाख पर,
जिसके बच्चे पलते हैं ।